कोहराम लाइव डेस्क : क्या आपको भी रातों में नींद नहीं आती है, बेचैनी में पूरी रात करवटें बदलते गुजर जाती है? अगर हां, तो सोने से 20 मिनट पहले पसंदीदा लेखक की किताब पढ़ें। आपकी आंखों में आधे घंटे के भीतर मीठी नींद भर जाएगी। ब्रिटेन स्थित ससेक्स यूनिवर्सिटी का हालिया अध्ययन तो कुछ यही बयां करता है।
किताबें पढ़कर चिंताओं से ध्यान भटकाएं
रिसर्चरस के मुताबिक किताबें पढ़ना रोजमर्रा की चिंताओं से ध्यान भटकाने का बेहतरीन जरिया है। इससे स्ट्रेस हार्मोन ‘कॉर्टिसोल’ के स्त्राव में 68 फीसदी तक की गिरावट आती है। बिस्तर पर जाने से पहले पसंदीदा गाना सुनने, गुनगुना दूध पीने या फिर पार्क में चहलकदमी करने पर भी तनाव का स्तर इस कदर नहीं घटता है। इन तीनों ही गतिविधियों से ‘कॉर्टिसोल’ के उत्पादन में क्रमशः 61 फीसदी, 54 फीसदी और 42 फीसदी कमी दर्ज की गई है।
चीफ रिसर्चर डॉ. डेविड लुइस की मानें तो किताब के पन्ने पलटने से महज छह मिनट में तन और मन आराम की मुद्रा में आ जाते हैं। इससे दिमाग को संकेत मिलता है कि अब सोने का समय आ गया है और वह स्लीप हार्मोन ‘मेलाटोनिन’ का प्रोडक्शन करने लगता है। लुइस ने सिर्फ उन्हीं विषयों से जुड़ी किताबें पढ़ने की सलाह दी, जो दिल को भाते हैं। ऐसा न करने पर मन फिर रोजमर्रा के तनाव में उलझ जाएगा और व्यक्ति सोने के लिए संघर्ष करेगा।
ई-बुक से परहेज करें
किताबें पढ़ने के लिए स्मार्टफोन, टैबलेट या ई-बुक रीडर के इस्तेमाल से बचने की सलाह दी गई है। रिसर्चरस के मुताबिक स्क्रीन से निकलने वाली नीली रोशनी ‘मेलाटोनिन’ के उत्पादन में बाधा डालती है। इससे दिमाग आराम की मुद्रा में नहीं जा पाता और व्यक्ति को सोने में दिक्कत होती है।
गुनगुने पानी से नहाएं
सोने से पहले गुनगुने पानी में बाइकार्बोनेट सोडा मिलाकर नहाने की सलाह दी गई है। इससे त्वचा को डिटॉक्स करने में तो मदद मिलती ही है, साथ ही तन-मन पर थकान हावी होने से ‘मेलाटोनिन’ का प्रोडक्शन तेज हो जाता है और व्यक्ति आसानी से नींद के आगोश में समा पाता है।
रूम फ्रेशनर भी कारगर
साउथैम्पटन यूनिवर्सिटी के रिसर्च में लैवेंडर, चंदन, पीपरमिंट, मरुआ और बबूने के फूल की खुशबू को मांसपेशियों को सुकून पहुंचाने व हृदयगति को धीमा करने में कारगर पाया गया था। कमरे में ऐसे गंध वाले रूम फ्रेशनर का छिड़काव करने से व्यक्ति न सिर्फ गहरी नींद सोता है, बल्कि सुबह उठकर तरोताजा भी महसूस करता है।
योग आसन अनिद्रा की शिकायत को दूर करता है
वहीं, कैलिफोर्निया विश्वविद्यालय के एक रिसर्च में शवासन और शशांकासन जैसे योग आसन को अनिद्रा की शिकायत से निजात दिलाने में असरदार पाया गया था। रिसर्चरस के मुताबिक इन आसनों के अभ्यास से नर्वस सिस्टम तो शांत होता ही है, साथ में रीढ़ की हड्डी भी शिथिल पड़ती है, जिससे व्यक्ति को अच्छी नींद आती है।
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